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मोबाइल पर शुरू हुई मोहब्बत थाने में बनी शादी, परिजनों के विरोध के बाद पुलिस बनी गवाह




गोंडा जिले में मोबाइल पर शुरू हुआ प्रेम जब शादी में बदला तो थाने में रचाई गई सादगी भरी शादी। जानें कैसे पुलिस और ग्रामीणों ने निभाई गवाह की भूमिका।

गोंडा में मोबाइल प्रेम बना विवाह: थाने में रचाई गई शादी, परिजन बने गवाह

रमेश मिश्रा

गोंडा: उत्तर प्रदेश के गोंडा जिले से एक अनोखी प्रेम कहानी सामने आई है, जो मोबाइल पर शुरू होकर थाने में शादी के अंजाम तक पहुंच गई। यह मामला उमरी बेगमगंज थाना क्षेत्र का है, जहां दो दिलों की मुलाकात मोबाइल के जरिए हुई और समाजिक विरोध के बावजूद उनका रिश्ता कानून की छांव में पक्का हो गया।


बरौली गांव के सेमरा निवासी जग प्रसाद की बेटी रूबी और परसपुर थाना क्षेत्र के गजसिंहपुर लोधन पुरवा निवासी जगदंबा के बेटे राकेश के बीच करीब दो साल पहले मोबाइल फोन पर बातचीत शुरू हुई थी। बातों-बातों में प्यार पनपा और दोनों का रिश्ता गहराता चला गया। चोरी-छिपे मुलाकातों ने जब भावनाओं को और मजबूत किया, तभी राकेश के परिवार ने उसकी शादी कहीं और तय कर दी।


रूबी ने इस पर आपत्ति जताते हुए सीधे उमरी थाने का रुख किया और पुलिस से मदद की गुहार लगाई। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए दोनों परिवारों को थाने बुलाया। शुरू में दोनों तरफ से विरोध देखने को मिला, लेकिन थाने में मौजूद पुलिसकर्मियों और सामाजिक लोगों की समझाइश के बाद आखिरकार दोनों परिवार शादी के लिए तैयार हो गए।

मौजूद ग्रामीण एवं पुलिस


फिर क्या था — थाने में ही सादगी से राकेश और रूबी की शादी करवाई गई, जहां पुलिस और ग्रामीणों ने गवाह बनकर इस प्यार को सामाजिक मान्यता दी।


शादी के समय थाने में मौजूद रहे प्रभारी निरीक्षक नरेंद्र प्रताप राय, उप निरीक्षक दयाशंकर यादव, हेड कांस्टेबल मनीष कुमार, आशुतोष यादव, परमानंद, जितेंद्र, सुरेश यादव, मिथिलेश कनौजिया, आरक्षी चालक जनार्दन प्रसाद, ग्राम प्रधान प्रतिनिधि गुड्डू सिंह, पूर्व प्रधान हिमांश सिंह, अमरेश कुमार और बलवंत शर्मा जैसे लोग इस ऐतिहासिक प्रेम विवाह के साक्षी बने।


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