उत्तर प्रदेश के मेरठ में एंटी करप्शन टीम ने दरोगा को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया है, मुकदमे के मामले में धारा की बढ़ोतरी न करने के एवज में दरोगा ने 10 हजार रुपए रिश्वत की मांग की थी, मामले में शिकायतकर्ता के सूचना पर एंटी करप्शन टीम ने जाल बिछा कर उप निरीक्षक विजयपाल सिंह को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक गुरुवार को भ्रष्टाचार निवारण संगठन, उत्तर प्रदेश (टावर-3, सप्तम व अष्टम तल, पुलिस मुख्यालय भवन, गोमतीनगर विस्तार, लखनऊ) के थाना इकाई मेरठ की टीम ने जिले के थाना मवाना में तैनात एसआई विजय पाल को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया है।
जमानत करवाने के बाद धमकी: बताया जाता है कि सोनू नाम के शिकायतकर्ता ने मारपीट के मामले में न्यायालय से जमानत करवाया था। इसके बाबजूद दरोगा उसे जेल भेजने की धमकी दे रहे थे। कह रहे थे कि रुपए दो नहीं तो मामले में विवेचना करते हुए धारा में बढ़ोतरी करके पुनः जेल भेज दिया जाएगा।
रिश्वत की मांग: आरोप है कि दरोगा ने शिकायतकर्ता से 10 हजार रुपए रिश्वत की मांग करते हुए कहा कि रुपए देने पर धारा में बढ़ोतरी नहीं होने दी जाएगी, जेल जाने से बच जाओगे।
पुलिस चौकी में गिरफ्तार: मामले में शिकायतकर्ता ने भ्रष्टाचार निवारण संगठन को सूचना दे दी। जिसके बाद एंटी करप्शन टीम इकाई मेरठ ने जाल बिछा कर दरोगा विजयपाल को मवाना कस्बे के पुलिस चौकी में 10 हज़ार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।
मुकदमा दर्ज: विजलेंस टीम में बताया कि आरोपी दरोगा को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत अपराध पंजीकृत कराया गया है।
विजलेंस टीम की अपील: टीम ने कहा कि कोई भी अधिकारी, कर्मचारी किसी सरकारी काम के लिए सुविधा शुल्क या रिश्वत की मांग करता है तो उसके खिलाफ हेल्पलाइन नंबर 9454402484 पर फोन करके शिकायत दर्ज करवा सकते है। मामले में जांच करके कार्रवाई की जाएगी।
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