अखिलेश्वर तिवारी
जनपद बलरामपुर जिला मुख्यालय स्थित एम एल के कॉलेज में अंग्रेजी विभाग द्वारा मंगलवार को राष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन किया गया ।
1 अक्टूबर को अंग्रेजी विभाग सभागार में प्रभारी प्राचार्य प्रो पी के सिंह की अध्यक्षता तथा विभागाध्यक्ष डाॅ रमेश शुक्ल की संयोजकतव मे सेमीनार का आयोजन किया गया । सेमीनार का विषय अल्फ्रेड लॉर्ड टेंशन और विक्टोरियन कंप्रोमाइज था । महाविद्यालय के अंग्रेजी विषय के स्नातक तथा स्नातकोत्तर के छात्र छात्राओ ने भाग लिया । कार्यक्रम का प्रारंभ मां सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण तथा दीप प्रज्वलन से हुआ । तत्पश्चात सरस्वती बंदना एवं स्वागत गीत आंकाक्षा पाण्डेय, अंजलि मौर्या तथा पिंकी जयसवाल द्वारा प्रस्तुत किया गया । विभागाध्यक्ष डाॅ शुक्ल ने महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य प्रो पी के सिंह का स्वागत विभाग मे परंपरागत ढंग से किया । कार्यक्रम मे स्वागत भाषण विभागाध्यक्ष डाॅ आर के शुक्ल ने प्रस्तुत किया । मंच संचालन अभय नाथ ठाकुर ने किया । धन्यवाद ज्ञापन डाॅ बी एल गुप्ता ने दिया । कार्यक्रम के विशिषट अतिथि वी ए वी इंटर काॅलेज के अवकाश प्राप्त प्रधानाचार्य डाॅ ए पी पाण्डेय थे । साथ ही शिक्षाशासत्र विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ दिनेश मौर्य, अर्थशास्त्र विभाग के विभागाध्यक्ष डाॅ शिवानंद पाण्डेय, संस्कृत विभाग के ए के दिक्षित तथा शिक्षाशासत्र विभाग के लेफ्टिनेंट डाॅ देवेन्द्र चौहान अतिथि के रुप मे कार्यक्रम मे शामिल थे ।निर्णायक मंडल मे डाॅ आर के शुक्ल डाॅ बी एल गुप्ता तथा डाॅ श्रद्धा सिंह शामिल थे । महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य प्रो पी के सिंह ने अपने सम्बोधन मे विभागाध्यक्ष डाॅ शुक्ल तथा विभाग के अन्य शिक्षकों को संपूर्ण शैक्षणिक सत्र में निरंतर विभिन्न प्रकार के शैक्षणिक एवम सांस्कृतिक कार्यक्रम सफलतापूर्वक सम्पन्न कराने हेतु बधाई तथा शुभकामनाएं दी । छात्र छात्राओ को सम्बोधित करते हुए प्रभारी प्राचार्य प्रो सिंह ने कहा कि उन्नीसवीं शताब्दी मे भारत एक उपनिवेश था ब्रिटेन का । उन्होने कहा कि उन्नीसवीं शताब्दी मे पश्चिमी यूरोप औद्योगिकीकरण के कारण लगातार आर्थिक विकास कर रहा था । मगर उननीसवी शताब्दी मे भारत के कारीगर उपनिवेशवादी नितियो के कारण मजदूर तथा किसान बन रहे थे एवम भारतीय कच्चे माल एवम संसाधन का उपयोग कर ब्रिटेन विश्व का एक शक्तिशाली राष्ट्र बन चुका था । विभागाध्यक्ष डाॅ आर के शुक्ल ने अपने सम्बोधन मे महान अंग्रेजी कवि तथा साहित्यकार एलफरेड लार्ड टेनीशन के व्यक्तित्व एवम कृतित्व पर प्रकाश डाला । विभागाध्यक्ष ने विक्टोरियन युग के बारे मे छात्र छात्राओ को संक्षेप मे जानकारी दी । साथ ही विभागाध्यक्ष ने छात्र छात्राओ से अनुरोध किया कि वे उननीसवी शताब्दी मे अंग्रेजी मे लिखनेवाले भारतीय साहित्यकारों द्वारा रचित रचनाओ का भी अध्ययन करे । उन्होने उननसवी सदी के भारत के महान राष्ट्र बादी कवि हेनरी विवियन डिरोजिओ के व्यक्तित्व एवम कृतित्व पर संक्षेप मे प्रकाश डाला तथा छात्र छात्राओ को उनके जीवन से प्रेरणा लेने की बात कही । विशिष्ट अतिथि ए पी पाण्डेय ने उननीसवी शताब्दी के अंग्रेजी के प्रसिद्ध कवि राबर्ट ब्राउजिंग और लार्ड टेनीशन की तुलना करते हुए अपने विचार संक्षेप मे प्रस्तुत की ।
जिन छात्र छात्राओ ने प्रतियोगिता मे भाग लिया उनमे प्रमुख है रचित शुक्ला, गैरी मिश्रा, अनन्या, विश्वजीत , इकरा बानो, सौमाया, प्रतिभा यादव, मंजु पाण्डेय, दीपशिखा शामिल हैं ।कार्यक्रम मे प्रथम पुरस्कार बी ए तृतीय सेमेस्टर की इकरा बानो को मिला । द्वितीय पुरस्कार बी ए तृतीय सेमेस्टर की शौमालया तथा तृतीय पुरस्कार एम ए तृतीय सेमेस्टर के रचित शुक्ला तथा एम ए प्रथम सेमेस्टर की गौरी मिश्रा को मिला । कार्यक्रम का समापन राष्ट्र गान से हुआ।
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