उमेश तिवारी
महराजगंज :जन्म-मृत्यु पंजीकरण को लेकर प्रशासन ने सख्ती दिखाई है। डीएम सत्येन्द्र कुमार ने जिला स्तरीय विभागीय समन्वय समिति की बैठक में जन्म-मृत्यु पंजीकरण को सही तरीके से कराने का निर्देश दिया। कहा कि अफसर क्षेत्र भ्रमण के दौरान कम से कम एक जन्म-मृत्यु पंजीकरण इकाई का निरीक्षण कर मानिटरिंग करते रहें ।
डीएम ने निर्देश दिया कि जन्म-मृत्यु पंजीकरण के लिए ग्राम पंचायत अधिकारी, ईओ व प्रभारी चिकित्सा अधीक्षक ग्राम पंचायतों, नगरीय निकायों व सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों के रजिस्ट्रार के रूप में कार्य करेंगे। ग्राम पंचायत अधिकारियों व एएनएम के प्रशिक्षण का निर्देश दिया और कहा कि संबंधित विभागों के जिलास्तरीय अधिकारी सुनिश्चित करें कि जन्म-मृत्यु पंजीकरण को सही व प्रभावी तरीके से किया जाए। जन्म-मृत्यु पंजीकरण को समय से करने को कहा। सभी पंचायत भवनों व निकाय कार्यालयों पर जन्म-मृत्यु पंजीकरण संबंधी बोर्ड लगवाने के लिए भी कहा। उन्होंने कहा कि देरी से हो रहे जन्म मृत्यु पंजीकरण की समस्या को जल्द दूर किया जाए। इसमें किसी प्रकार की लापरवाही नहीं होनी चाहिए।
डीएम ने सिविल रजिस्ट्रेशन सिस्टम एवं सैम्पल रजिस्ट्रेशन सिस्टम के संबंध में चर्चा करते हुए कहा कि जन्म-मृत्यु पंजीकरण विभिन्न योजनाओं के साथ-साथ जनगणना व स्वच्छ निर्वाचक नामावली को तैयार करने की दृष्टि से भी अहम है। इसलिए इसको सभी लोग गंभीरता से लें। उन्होंने कहा कि जन्म-मृत्यु पंजीकरण के संबंध में आशाओं एवं सीएचओ सहित पंचायत सहायकों की भी मदद लें। उन्होंने मृत्यु पंजीकरण पर भी विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया। इससे पूर्व संयुक्त निदेशक जनगणना कार्य निदेशालय एके राय ने जन्म प्रमाण-पत्र व मृत्यु प्रमाण पत्र की आवश्यकता तथा सिविल रजिस्ट्रेशन प्रणाली के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने जन्म व मृत्यु पंजीकरण व प्रमाण पत्र जारी करने के संबंध में विस्तार से बताया।
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बैठक में अपर जिलाधिकारी डॉ. पंकज कुमार वर्मा, एसीएमओ डॉ. राजेन्द्र प्रसाद, सहायक निदेशक जनगणना कार्य मनोज कुमार मौर्य, डीसी मनरेगा करुणाकर अदीब सहित अन्य जिलास्तरीय अधिकारी उपस्थित रहे। जबकि समस्त उपजिलाधिकारी, एमओआईसी, अधिशासी अधिकारी व अन्य संबंधित अधिकारी ऑनलाइन बैठक में शामिल हुए।
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