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अत्याचार को समाप्त करने और धर्म की स्थापना करने के लिए प्रभु लेते हैं अवतार



कुलदीप तिवारी 

लालगंज प्रतापगढ़ । पौराणिक स्थली बाबा घुश्मेश्वरनाथ धाम के बाजार में चल रही श्रीमद् भागवत कथा में कथा वाचक आचार्य शेषधर मिश्र अनुरागी जी ने कही। 


श्रीमद् भागवत कथा के चौथे दिन श्री कृष्ण जन्मोत्सव व कृष्ण बाल लीला का वर्णन करते हुए उन्होंने बताया कि जब-जब अत्याचार और अन्याय बढ़ता है उसे समाप्त कर धर्म की स्थापना के लिए भगवान को जन्म लेना पड़ता है।


उन्होंने कहा कि जब  कंस नें अपनी सभी मर्यादा तोड़ दी तो भगवान ने श्री कृष्ण के रूप में जन्म लेकर अत्याचार और अन्याय का नाश किया। 


उन्होंने कहा कि श्रीमद्भागवत में लिखे श्लोक केवल भगवान की आराधना और उनके चरित्र का वर्णन ही नहीं है बल्कि श्रीमद् भागवत कथा में वह सारे तत्व है जिनके माध्यम से व्यक्ति अपना तो कल्याण कर ही सकता है साथ ही उससे जुड़े अन्य लोगों का भी कल्याण हो जाता है। 


प्रत्येक व्यक्ति को श्रीमद् भागवत कथा का श्रवण एवं अनुसरण करना चाहिए बिना आमंत्रण के भी श्रीमद् भागवत कथा में पहुंच कर श्रवण करना चाहिए इससे जीव का कल्याण होता है ।


इस अवसर पर कमल कृष्ण अनुरागी राजू सोनी दिनेश मिश्र विपिन पांडे शुभम श्रीवास्तव समेत सैकड़ों की संख्या में लोक कथा श्रवण के लिए मौजूद रहे ।


सभी आगंतुकों का आयोजक रामबहादुर सोनी ने आभार प्रकट किया।

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