रजनीश / ज्ञान प्रकाश
करनैलगंज(गोंडा)। सरयू नदी में आए सैलाब का स्तर अब धीरे-धीरे घटने लगा है। वहीं बाढ़ से प्रभावित गांवों में पानी भले ही कम हो रहा हो मगर दुश्वारियां बढ़ती जा रही हैं।
करीब आधा दर्जन गांव ऐसे हैं जो पानी में पूरी तरह डूबे हुए हैं और एक दर्जन गांव ऐसे हैं जहां करीब 8 से 10 फीट गहराई तक पानी भरा हुआ है।
ऐसे में बाढ़ पीड़ितों के लिए लगातार मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। कोई बांध पर आशियाना बना कर रहा है तो कोई घर बार छोड़कर सुरक्षित स्थानों की तरफ निकल गया है।
बांध के दोनों तरफ पानी का सैलाब है। न प्रकाश की कोई व्यवस्था है न खाने की, ऐसी स्थिति में सिर्फ सरकारी लंच पैकेट के सहारे परिवारों का भरण पोषण चल रहा है। ग्राम माझा रायपुर, परसावल, बेहटा, पारा, नेपुरा, कमियार ऐसे गांव हैं।
जो गोंडा और बाराबंकी की सीमा पर बसे हुए हैं। बांध पर बसी गांव की आबादी को दोनों तरफ पानी ही पानी नजर आ रहा है। घर खेत फसल सब डूब चुका है। अब लंच पैकेट के सहारे जिंदगी कट रही है।
उधर गोंडा जिले के ग्राम नकहरा की स्थिति दिन प्रतिदिन लगातार बदतर होती जा रही है। यहां अधिकांश घर 8 से 10 फीट पानी में डूबे हुए हैं।
लोग बांध को अपना बसेरा बना कर रह रहे हैं तो तमाम परिवार ऐसे हैं लोग पक्के मकान की छतों पर त्रिपाल छाजन करके निवास कर रहे हैं।
दूसरी तरफ करनैलगंज की सरयू नदी भी लगातार बढ़त बना रही है। लगातार इस नदी का भी जलस्तर बढ़ रहा है। सरयू नदी के किनारे बसे गांवों में बाढ़ का पानी तेजी से भरने लगा है। सरयू घाट पर सभी सीढियां लबालब भर चुकी हैं।
सरयू के किनारे घाट तक जाने वाला मार्ग पूरी तरह से जलमग्न हो गया है। करीब 5 फिट पानी रोड पर चल रहा है। नदी से बाढ़ का पानी बाहर भरने लगा है।
ग्राम कुर्था, सकरौरा ग्रामीण, नारायन पुर मांझा, बसेहिया, कचनापुर, झिंगही, हीरापुर कमियार, मलौना, धमसडा तथा नारायन पुर मांझा के मजरा गोंडियन पुरवा, छगड़िहन पुरवा, चाइन पुरवा, बोडन पुरवा, भठियारन पुरवा बाढ़ की चपेट में आ गए हैं।
जहां अब नावें चलने लगी हैं। एसडीएम लगातार बाढ़ प्रभावित गांव में पूरी टीम के साथ डेरा जमाए बैठे हैं।
एसडीएम हीरालाल ने बताया करनैलगंज तहसील के आधा दर्जन ग्राम पंचायतों के करीब 2 दर्जन मजरे बाढ़ से प्रभावित हैं। जिसमें से नकहरा के नौ मजरे अधिक प्रभावित हैं।
जिसमें राधेपुरवा, तीरथरामपुरवा, पुहिलपुरवा, बसंतलालपुरवा, मोछारनपुरवा, दुलारेपुरवा, छंगूलालपुरवा, संभरपुरवा, देवकिशुनपुरवा शामिल है। वहीं चन्दापुर किटौली के नाऊपुरवा, बिचला पुरवा व धुसवा है। जहां की स्थिति खराब है।
इसी प्रकार पसका के दो मजरे इकनिया मांझा व गोड़ियन पुरवा में बाढ़ का पानी भर चुका है। एसडीएम ने बताया कि बाढ़ पीड़ितों को राशन वितरित किया जा चुका है। लंच पैकेट लगातार वितरित किये जा रहे हैं।
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