मैराज शेख
गोण्डा:फार्मेसी एंड फार्मासिस्ट वेलफेयर एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने सोमवार को मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन जिलाधिकारी को सौंपा !
सभी पदाधिकारियों ने एक स्वर में कहा कि खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग में भ्रष्टाचार की जांच हो तो सत्यता सामने आ जाएगी ।
लाइसेंस बनाने के नाम पर रकम की वसूली की जाती है । आरोप है कि विभाग के उच्चाधिकारी भी इसमें शामिल हैं ।
प्रदेश संगठन मंत्री नौशाद खान ने कहा कि प्रदेश सरकार भ्रष्टचार मुक्त प्रदेश बनाने में जुटी है , लेकिन सरकार की आंखों में धूल झोंक कर खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के जिम्मेदार लाइसेंस बनाने के नाम पर वसूली करा रहे हैं ।
खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन के जिम्मेदार लाइसेंस बनाने के नाम पर वसूली कर रहे है! उत्तर प्रदेश के खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन ऑनलाइन लाइसेंस प्रणाली प्रक्रिया तक पारिश्रमिक के लिए जो पोर्टल बनाया गया है! उसका सॉफ्टवेयर खरीदने में भी गोलमाल हुआ है ।
भ्रष्टाचार को छुपाने की वजह से लाइसेंस बनाने की व्यवस्था को सार्वजनिक नहीं किया गया है!
राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रभाकर नाथ पाण्डेय ने कहा कि आख्या प्राप्त होने के बाद लाइसेंस निर्गत करने का प्रावधान बना लिया गया , जिससे आसानी से रकम वसूल की जा सके , जबकि एक्ट में औषधि निरीक्षक के बिना निरीक्षण किए ही औषधि अनुज्ञापन प्राधिकारी को ड्रग लाइसेंस निर्गत करने का प्रावधान है ।
जो औषधि निरीक्षक जनपद में पांच साल से ज्यादा समय से रुके हैं , उनका तबादला नहीं हुआ है ।
इस दौरान जिला अध्यक्ष सुमित मोदनवाल, निरंजन सैनी, संदीप यादव, सहजाद अली, प्रभात कनौजिया, बृजेश यादव, सुधांशु मिश्रा, सुजीत गुप्ता, अजय गुप्ता , राम लगन सोनकर, उल्लास मिश्रा, सहित कई फार्मासिस्ट मौजूद थे।
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