सलमान असलम
बहराइच। भारत नेपाल सीमावर्ती रुपईडीहा थाना क्षेत्र के रुपईडीहा कस्बा सहित अन्य स्थानों पर मेडिकल स्टोरों पर धड़ल्ले से बिक रही नशीली दवाओं (ड्रग) के अवैध कारोबार के धंधे को लेकर खबर प्रकाशित करना रुपईडीहा के एक पत्रकार को महंगा पड़ गया।
पत्रकार को मेडिकल स्टोर स्वामी ने लाठी से मार कर गम्भीर रूप से घायल कर दिया। जिसका इलाज जिला अस्पताल में चल रहा है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार लखनऊ से प्रकाशित एक दैनिक समाचार पत्र रुपईडीहा के पत्रकार नीरज कुमार बरनवाल मंगलवार की शाम लगभग 7:00 बजे अपनी धर्म पत्नी को लेकर चकिया रोड स्थित चिकित्सक डॉ0 सुकान्त राय की क्लीनिक पर चिकित्सीय परामर्श हेतु आये हुये थे।
कि गुटखा खाने की वजह से उन्हें क्लिनिक से तीन चार बार बाहर थूकने के लिये बाहर सड़क आना पड़ा।
चूँकि शाम को नशेड़ियों का मेडिकल स्टोरों पर काफी जमावड़ा होता है। इसी बात को लेकर क्लिनिक के विपरीत दिशा में सड़क के उस पार प्रदीप मेडिकल स्टोर पर बैठे विपक्षी मेडिकल स्टोर स्वामी प्रदीप वर्मा को यह लगा कि यह पत्रकार हमारी दुकान की गतिविधियों को शायद प्रकाशन हेतु निगरानी कर रहा है। और दुकान से एक भारी भरकम लठ लेकर आ धमका और घटना स्थल पर मौजूद लोग जब तक कुछ समझ पाते कि अचानक सिर पर प्राणघातक हमला कर दिया।
देखते ही देखते शरीर के विभिन्न स्थानों पर लठी के वार से पीड़ित पत्रकार को जमीन पर लिटा दिया। वहाँ पर मौजूद लोग दौड़े और किसी तरह से जान बचायी।
विपक्षी भद्दी भद्दी माँ बहन व जान माल की धमकी दे रहा था। और कह रहा था ये अपने आपको को रुपईडीहा का सबसे बड़ा पत्रकार समझता है।
घटने की सूचना पर स्थानीय पुलिस ने मु0अ0स0 08/2022 धारा 3/23, 504, 506 पंजीकृत कर आवश्यक कार्यवाही हेतु पत्रकार को आश्वासन दिया है।
पुलिस पत्रकार नीरज कुमार बरनवाल को लेकर चरदा अस्पताल गयी। वहां डाक्टर ने प्राथमिक उपचार के बाद उन्हें बहराइच रिफर कर दिया।
सीमावर्ती क्षेत्र के पत्रकारों में रोष व्याप्त है। इस संबंध में पत्रकारगण मनीराम शर्मा, एस0 के0 मदेशिया, रईस अहमद, मोहम्मदअरशद, मो0 असरार, राजेश सिंह, संजय वर्मा, रज़ा इमाम रिज़वी इरशाद हुसैन, मो0 रईस अहमद, श्याम कुमार मिश्रा, रावेन्द्र नाथ शर्मा, नईम खान,अकील अहमद, सहित विभिन्न पत्रकार संगठनों ने घोर निन्दा की है। साथ ही जिलाधिकारी बहराइच व न्याय प्रिय एस पी महोदया से मांग की है कि हमलावर प्रदीप वर्मा पर जानलेवा हमला संबंधी धारायें बढायी जाय। व उसे अविलंब गिरफ्तार किया जाये।
पत्रकारों ने यह भी मांग की है कि डीआई राजू प्रसाद की भूमिका भी संदिग्ध लगती है। इस लिए इस घटना की मजिस्ट्रेटियल जांच कराई जाए।
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