पुलिस मीडिया सेल द्वारा जारी किये गए विज्ञप्ति के अनुसार एसपी शैलेश कुमार पाण्डेय ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके बताया है कि अरुण वर्मा पुत्र स्व मोहन लाल निवासी ग्राम भरबलिया बुजुर्ग आजाद चैक थाना रामगढ ताल जनपद गोरखपुर एकाउन्टेन्ट चकबन्दी विभाग गोरखपुर, राजेश पाठक पुत्र केदारनाथ पाठक निवासी ग्राम कोल्हमपुर विशेन पठकौली थाना नवाबगंज जनपद गोण्डा लेखपाल हरैया तहसील बस्ती, नानमून मौर्या पुत्र रामकेवल मौर्या निवासी गेड़सर मुरावन पुरवा थाना वजीरगंज ग्राहक सेवा केन्द्र संचालक वजीरगंज, अरुण श्रीवास्तव पुत्र रामलोचन श्रीवास्तव निवासी ग्राम इमलिया गुरदायाल थाना कोतवाली नगर गोण्डा एजेन्ट एसबीआईलाईफ एन्शोरेन्स और प्रदीप दुबे पुत्र श दुर्गा प्रसाद दुबे निवासी पुरे परसदा पोखरा थाना तरबगंज ग्राहक सेवा केन्द्र संचालक को गिरफ्तार किया गया है। इनके पास से 26 लाख 75 हजार नगद व 4 खातों में एक करोड़ 32 लाख रुपये फ्रीज कराये गए।कुल बरामदगी 1 करोड़ 58 लाख 75 हजार रुपये की गई है। डेस्कटाप, 2 लैपटाप, 4 मोबाईल फोन, टेबलेट और फर्जी चकबंदी विभाग के कर्मचारियों की 28 आईडी भी मिली है।
आईजी डा. राकेश सिंह और एसपी शैलेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि गोपनीय सूचना प्राप्त हुई गोण्डा के नवाबगंज स्थित भारतीय स्टेट बैक के कुछ खाता धारको के खातो में सन्दिग्ध तौर पर धनराशि स्थानांतरित हो रही है। जिसमें नवाबगंज क्षेत्र के ग्राहक सेवा केन्द्र के संचालक की संलिप्तता है। इस गोपनीय सूचना की जांच एसओजी टीम के माध्यम से करायी गई।
थाना नवाबगंज व एसओजी टीम द्वारा सरकारी कर्मचारियो की कूटरचित आईडी बनाकर जीपीएफ के नाम पर फर्जी तरीके से पैसा गबन करने वाले गिरोह के पाँच सदस्यो को गिरफ्तार किया गया। गिरफ्तार अभियुक्त अरुण वर्मा चकबन्दी विभाग गोरखपुर में एकाउन्टेण्ट के पद पर तैनात है। जिसके द्वारा अपने साथी कर्मचारी पुनीत श्रीवास्तव के साथ मिलकर फर्जी सरकारी कर्मचारियो की लैपटाप व वेबसाइट के माध्यम से कई आईडी बनाई गई व फर्जी जीपीएफ बिल बनाकर विगत कई वर्षों में करोडों रुपयों जनपद गोण्डा ,गोरखपुर व देवरिया के कई खातो में अपने साथी लेखपाल राजेश पाठक व नानमून मौर्या ( एसबीआई ग्राहक सेवा केन्द्र ) के माध्यम से स्थानांतरित कर लिए। जिनमें से अबतक 45 खातों को चिन्हित किया जा चुका है। खातों में विगत तीन वर्षों में छह करोड़ रुपयों से ज्यादा का स्थानांतरण इस गिरोह द्वारा किया जा चुका है। अरुण वर्मा, राजेश पाठक व गिरोह के अन्य सदस्यो द्वारा विगत दस वर्षों में इस फर्जीवाड़े से कई करोड़ रुपयों की सम्पत्ति अर्जित की गयी है जिनको चिन्हित कर सीज करने की कार्यवाही जारी है|
ग्रिफ्तार करने वाली टीम में राजेश कुमार सिह , सुखवीर सिह भदौरिया,अतुल कुमार चतुर्वेदी , राजकुमार सिह, सुनील कुमार सिह ,श्रीनाथ शुक्ला,मुलायम,अजीत चन्द्र,राजेन्द्र,राजू सिंह,अमित यादव,अदित्य पाल,अरविन्द कुमार, अमितेश सिंह , हृदय नारायण दीक्षित शामिल रहे |
एक टिप्पणी भेजें
0 टिप्पणियाँ