प्रदेश में बढ़ते कोरोना पॉजिटिव मरीज़ों की संख्या को लेकर योगी सरकार सख़्त दिखायी पड़ रही है। सड़कों पर बिना मास्क,हेलमेट के घूमने वालों से जुर्माना वसूला जा रहा है। मगर यहां खुद नियमों का पालन कराने वाली पुलिस ही नियमों की खुलेआम धज्जियां उड़ा रही है
कोरोना माहमारी से बचने के लिए प्रदेश सरकार की तरफ़ से कई नियम लागू की गयी है।जिसमे बिना मास्क,हेलमेट के सड़कों पर निकलने वालों पर जुर्माने लगा रखा है।बाकायदा पुलिस नियम तोड़ने वालों से भारी भरकम दंड वसूल भी रही है।
मगर यहां खुद नियमों का पालन कराने वाले पुलिसकर्मी ही नियमों की खुलेआम धज्जियां उड़ा रहें हैं।पड़ताल में बहुत से पुलिसकर्मी कहीं बिना मास्क घूमते हुए दिखाई दिए। तो कहीं खुलेआम बाइक से बिना हेलमेट के सड़कों पर फर्राटा भरते नज़र आए।ऐसे में खाकी वर्दी पर सवालियां निशान खड़े हो रहे हैं।
मगर यहां खुद नियमों का पालन कराने वाले पुलिसकर्मी ही नियमों की खुलेआम धज्जियां उड़ा रहें हैं।पड़ताल में बहुत से पुलिसकर्मी कहीं बिना मास्क घूमते हुए दिखाई दिए। तो कहीं खुलेआम बाइक से बिना हेलमेट के सड़कों पर फर्राटा भरते नज़र आए।ऐसे में खाकी वर्दी पर सवालियां निशान खड़े हो रहे हैं।
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की जब कानून का पालन कराने वाला खुद ही नियमों की धज्जियां उड़ा रहा है तो जनता नियमों का पालन कैसे करेगी? लॉकडाउन के दिनों में मनकापुर कोतवाली क्षेत्र में पुलिस रोजाना सैंकड़ों का चालान काट रही है। लोग चालान काटने वाली पुलिस के आगे बेबस होकर चुपचाप चालान कटवाते भी हैं। और अगर गलती से भी कोई शोर मचाता है तो उसके चालान में गलत व्यवहार लिखकर चालान मोटा कर दिया जाता है।
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मगर जब बात खुद नियमों का पालन कराने वालों वर्दीधारकों पर आती है तो ये स्टाप का हवाला देकर चुपके से निकल जाते हैं।ऐसे में सवाल उठता है की क्या कानून केवल जनता के लिए ही लागू होता है? क्या इन पुलिसकर्मीयों के लिए कोई कानून नहीं है?क्योंकि जनता गलती से भी यातायात नियमों का उल्लंघन करती है तो पुलिस जनता से जुर्माना वसूलती है। लेकिन अगर पुलिस ही नियम तोड़ती है,तो उनसे जुर्माना कौन वसूल करेगा?
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