डॉ ओपी भारती
वजीरगंज, गोंडा। पूरेडाढू के मजरे विश्वनाथ पुरवा सहित अड़ोस-पड़ोस के पुरवों के लोगों की रात दहशत में बीती। वन विभाग की टीम मौके पर आयी तो पर औपचारिकता करके चली गयी। वहीं घायल महिला को देखने के लिए उसके दरवाजे पर भीड़ लगी रही।
ग्रामीणों ने रात में गेहूं के खेत में छिपे रहे हिंसक जानवर के बैठने की जगह व नमी वाले खेत में पंजे के निशान भी दिखाए। गांव वाले रात भर भयभीत रहे। आस-पास के गांव के लोग मशाल जलाकर अपने-अपने गांव की रखवाली करते रहे।कोई फसलों की रखवाली करने खेतों में नहीं गया।गांव वालों ने बताया कि वन विभाग की टीम रात में आई तो जरूर थी लेकिन थोड़ी देर में वापस चली गई।वैसे वन क्षेत्राधिकारी टीम के मौके पर होने का दावा करते रहे किन्तु उनका ये दावा खोखला ही रहा। ग्रामीणों ने बताया कि रात में थोड़ी देर के लिए वन विभाग के लोग आये थे।
जो बाद में चले गये। गांव के लोग कृषि यंत्रों एवं आग के भरोसे हिंसक जानवर से अपनी रक्षा करने का प्रयास कर रहे है। वन क्षेत्राधिकारी सन्तोष मिश्र ने बताया कि आधा दर्जन लोगों की टीम मौके पर कैंप कर रही है। जब मौके पर किसी के न होने की बात कही गयी तो उन्होंने कहा कि लोग खाना खाने गये होंगे।वन क्षेत्राधिकारी के अनुसार खेतों में मिले पंजों के निशान एवं घायल महिला के घाव को देखकर हिंसक जानवर के लकड़बग्घा होने का अनुमान है।
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