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सात दिवसीय राष्ट्रीय सेवायोजन कैम्प का शुभारंभ


अखिलेश्वर तिवारी/आदेश तिवारी

बलरामपुर ।। रेहरा बाजार - बाबागंज रोड पर स्थित शशिभूषण शरण सिंह महाविद्यालय द्वारा  शिवदीन खरिहा में आयोजित राष्टृीय सेवा योजना का सप्त दिवसीय विशेष शिविर का शुभारम्मभ प्रधान प्रतिनिधि उज्जैनी कला  सूर्यभान दूबे व विद्यालय के प्रशासक हरिवंश सिंह ने माँ सरस्वती के चित्र पर दीप प्रज्जवलित कर  माल्यार्पण कर के किया । सरिता पांडेय माधुरी वर्मा, सोनिया गुप्ता, आफरीन, वर्तिका व सोनम बानो ने सरस्वती वंदना प्रस्तुत किया तथा अमिता मिश्रा, कीर्ति सिंह, लक्ष्मी गुप्ता, माधुरी वर्मा, प्रिया विश्व कर्मा, आरती सिंह व पूजा तिवारी आदि छात्राओं ने कैम्प में प्रतिदिन पढ़ा जाने वाला प्रार्थना प्रस्तुत किया । 

                 जानकारी के अनुसार कार्यक्रम सुभारम्भ अवसर पर एन एस.एस.राष्टृीय सेवा योजना के कार्यक्रम प्रभारी राहुल मिश्र ने राष्टृीय सेवा योजना की महत्ता उददेश्य एवं जनजागरुकता पर प्रकाश डाला । उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय सेवा योजना का आदर्श वाक्य मी नाट बट यू "मैं नहीं बल्कि आप" पर विस्तार से चर्चा की । विद्यालय के प्रशासक हरिवंश ने अपने सम्बोधन मे कहा कि युवा कार्यक्रम कल्याण एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार द्वारा  1969 में राष्टृीय सेवा योजना की स्थापना की गई जिसका उद्देश्य राष्टृ निर्माण के लिए युवाओं को तैयार करना है । उन्होंने कहा कि समाज सेवा ही जीवन का उददेश्य होना चाहिए ।अमित सिंह ने कहा कि राष्‍ट्रीय सेवा योजना राष्‍ट्र की युवा शक्ति के व्‍यक्‍तित्‍व विकास हेतु युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार द्वारा संचालित एक सक्रिय कार्यक्रम है। इसके गतिविधियों में भाग लेने वाले विद्यार्थी समाज के लोगों के साथ मिलकर समाज के हित के कार्य करते है। साक्षरता संबंधी कार्य, पर्यावरण सुरक्षा, स्‍वास्‍थ्‍य एवं सफाई आपातकालीन या प्राकृतिक आपदा के समय पीड़ीत लोगों की सहायता जैसे सामाजिक कार्य प्रमुख हैं । विद्यार्थी जीवन से ही समाज उपयोगी कार्यों में रत रहने से उनमें समाज सेवा या राष्‍ट्र सेवा के गुणो का विकास होता है। एक आदर्श नागरिक बनने के लिए इन गुणों का विकास होना अत्‍यंत आवश्‍यक है । राष्ट्रीय सेवा योजना का उद्धेश्य विद्यार्थिओं की सामाजिक चेतना को जागृत करना और उन्हें लोगों के साथ मिलकर कार्य करने, स्वयं को सृजनात्मक और रचनात्मक सामाजिक  कार्यों में प्रवृत्त  करने,
स्वयं तथा समुदाय की ज्ञान वृद्धि करने, समस्याओं को कुछ  न कुछ हल करने में स्वयं की प्रतिभा का व्यावहारिक उपयोग करने, प्रजातांत्रिक नेतृत्व को क्रियान्वित करने में दक्षता प्राप्त करने, स्वयं को रोजगार के योग्य बनाने के लिए कार्यक्रम विकास में दक्षता प्राप्त करने , शिक्षित और अशिक्षितों के बीच की दूरी को मिटाना, समुदाय के कमजोर वर्ग की सेवा के लिए स्वयं में इच्छाएँ जागृत करना शामिल है । कार्यक्रम को  रूपेश श्रीवास्तव, वाचस्पति, शिल्पी सिंह, अमित सिंह, प्रधान प्रतिनिधि सूर्यभान दूबे उज्जैनी कला ने भी सम्बोधित किया । कुलदीप श्रीवास्तव, भीमपाल सिंह, जिगर मुहम्मद, अमरदीप, माधुरी, आरती, सौम्या, आस्था, आकांक्षा सिंह, करिश्मा तिवारी, कृष्णा विश्वकर्मा, आदि सिक्ति सिंह, अंशिका, सोनू मौर्या, विनय कुमार वर्मा, सर्वेश शुक्ला, अहमद रजा खान, आँचल देवी सहित तमाम छात्र छात्राएं मौजूद रहे ।

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