अखिलेश्वर तिवारी
बलरामपुर । केंद्र की मोदी सरकार तथा प्रदेश की योगी सरकार भ्रष्टाचार पर नियंत्रण लगाने की भले ही तमाम कोशिश कर ले परंतु जिला स्तर पर अधिकारियों के ऊपर कोई असर दिखाई नहीं दे रहा है । ताजा मामला मदरसा शिक्षकों से जुड़ा हुआ है । जनपद बलरामपुर के तमाम मदरसा शिक्षक जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी पर भ्रष्टाचार में लिप्त तथा रिश्वत मांगने का आरोप लगाते हुए कलेक्ट्रेट गेट पर अर्धनग्न होकर धरना प्रदर्शन व आमरण अनशन शुरू कर दिया है ।
जानकारी के अनुसार मदरसा आधुनिकीकरण शिक्षक संघ जनपद बलरामपुर के मदरसा शिक्षकों के विभिन्न समस्याओं को लेकर आज अनोखे ढंग से अर्धनग्न होकर कलेक्ट्रेट गेट पर आमरण अनशन शुरू किया है । कड़ाके की ठंड के बीच अपने कपड़े निकाल कर अनशन पर बैठे मदरसा शिक्षकों की मांग है कि अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी उन्हें उनका वेतन नहीं दे रहे हैं । वेतन देने के लिए सभी शिक्षकों से एक एक माह का वेतन रिश्वत के रूप में मांग रहे हैं । इनका यह भी कहना है कि जानबूझकर सरकार द्वारा बनवाए गए मदरसा पोर्टल को जिले में चालू नहीं कराया जा रहा है । शिक्षकों ने भ्रष्टाचार रोकने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा बनवाए गए पोर्टल का समर्थन करते हुए कहा कि पोर्टल से विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार समाप्त होगा । इसीलिए भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारी पोर्टल चालू नहीं करना चाह रहे हैं । शिक्षकों की मांग है कि अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी को तत्काल हटाया जाए तथा उनका 43 महीने से बकाया वेतन भी तत्काल दिया जाए । 3 वर्ष से ऊपर वेतन ना मिलने के कारण मदरसा शिक्षक व उनके परिवार भुखमरी के कगार पर पहुंच चुके हैं । शिक्षकों का कहना है कि हमने कपड़े उतार दिए हैं डीएम साहब हमारे कपड़े बेच कर रिश्वतखोर अधिकारी को रिश्वत दे दे । पूरे मामले पर अपर जिलाधिकारी शिव पूजन का कहना है कि मदरसा शिक्षकों की जायज मांगों को पूरा किया जाएगा । आरोपों की जांच कराई जाएगी तथा दोषी पाए जाने पर दोषियों पर कार्यवाई की जाएगी ।
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