खुर्शीद खान
सुलतानपुर। पुलिस की पिटाई के आरोप में जेल गए पूर्व मंत्री के बेटे व नाती की तरफ से प्रस्तुत जमानत अर्जी पर एसीजेएम चतुर्थ की अदालत में सुनवाई चली। जिस पर सुनवाई के पश्चात न्यायाधीश मनीष निगम ने चार लोगो की जमानत अर्जी स्वीकार कर ली है।
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मामला जयसिंहपुर थाना क्षेत्र के बगिया चौराहे से जुड़ा है। जहां के रहने वाले पूर्व मंत्री रामरतन यादव के परिजनों से वाहन चेकिंग के दौरान कागजात मांगने के विवाद को लेकर दरोगा पवन मिश्र आदि से कहा-सुनी हो गयी थी और पूर्व मंत्री के परिजनों ने जमकर पुलिस वालों की धुनाई भी की थी। इसी मामले में दरोगा पवन मिश्र की तहरीर पर प्रधान रामविशाल यादव उनके भाई रामभुवर यादव, नाती अंकित यादव, राजेश यादव, रामअधार यादव आदि के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था। इसी घटना के बाद पिटाई से नाराज पुलिस ने पूर्व मंत्री के घर पर छापेमारी कर अवैध शराब बनाने के उपकरणों एवं असलहे समेत अन्य सामानों को बरामद दिखाया था। जिसके सम्बंध में अंकित के अलावा अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था। दोनों मामलों में आरोपी अंकित यादव, राजेश यादव, रामअधार यादव, रामभुवर व मनोरमा को जेल भेजने की कार्यवाही की गयी थी। गुरूवार को आरोपी मनोरमा के अलावा शेष चारो आरोपियों की तरफ से एसीजेएम चतुर्थ की अदालत में पुलिस की पिटाई के मामले में जमानत अर्जी पर सुनवाई चली। जिस पर उभय पक्षों की बहस सुनने के पश्चात न्यायाधीश मनीष निगम ने चारों आरोपियों को जमानत पर रिहा किए जाने का आदेश दिया है। फिलहाल अदालत के इस आदेश से सिर्फ अंकित की ही रिहाई हो सकेगी। शेष आरोपी अवैध शराब उपकरण बरामदगी मामले में निरूद्ध होने के चलते उस मामले में भी जमानत मिलने के बाद ही रिहा हो पाएंगे। फिलहाल पुलिस की बातों में सच्चाई चाहे जो भी हो,लेकिन उनकी पिटाई करने के आरोपियों को इतनी जल्दी जमानत मिल जाने से उन्हे गहरा झटका लगा है।
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